नई दिल्ली : दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) ने आवासीय फ्लैट देने के नाम पर 20 करोड़ रुपये की ठगी में शनिवार को एक कंपनी की महिला निदेशक को गिरफ्तार किया है। वैल्यू इन्फ्राकॉन इंडिया प्राइवेट लिमिटेड नामक कंपनी की इस निदेशक को पुलिस ने मुंबई से गिरफ्तार किया। इस कंपनी पर एक दर्जन से ज्यादा मुकदमे दर्ज हैं। महिला निदेशक पर आरोप है कि उसने गाजियाबाद के राज नगर एक्सटेंशन स्थित परियोजना में फ्लैट के नाम पर लोगों से ठगी की है।
ईओडब्ल्यू के ज्वाइंट पुलिस कमिश्नर डॉ. ओपी मिश्रा के मुताबिक, लोगों ने गाजियाबाद राज नगर एक्सटेंशन स्थित विस्टा प्रोजेक्ट के तहत आवासीय फ्लैट बुक कराए थे। कंपनी ने निवेशकों को समय पर फ्लैट देने का वादा किया था लेकिन रुपये जमा करने के बाद न तो निवेशकों को फ्लैट दिए गए और न ही उनकी रकम वापस की गई। शिकायत के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच आरंभ की तो पता चला कि इस आवासीय प्रोजेक्ट के लिए कंपनी ने गाजियाबाद प्राधिकरण से अनुमति नहीं ली थी। इसके अलावा निवेशकों से मिली रकम को भी कंपनी के निदेशकों ने गलत तरीके से अन्य खातों में स्थानांतरित कर दिया था। इतना ही नहीं, कंपनी के निदेशकों ने साजिश के तहत कई फर्जी कंपनियां भी खोल ली थी।
कंपनी का प्रमुख प्रमोद कुमार सिंह पूर्व सीआरपीएफ अधिकारी है। वह कंपनी के अन्य निदेशकों के साथ मुकदमा दर्ज होते ही फरार हो गया था। पुलिस आरोपियों की तलाश कर रही थी तभी कंपनी की इस आरोपी महिला निदेशक के मुंबई में होने की सूचना मिली। सूचना के आधार पर पुलिस ने मुंबई के अंधेरी वेस्ट इलाके से महिला को गिरफ्तार कर लिया। मामले की जांच में जुटी ईओडब्लू की टीम ठगी के आरोपी कंपनी के अन्य निदेशक प्रवीण कुमार सिंह और आशीष वर्मा को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है। अब इस मामले में प्रमोद कुमार सहित कुछ अन्य आरोपियों की तलाश में छापेमारी कर रही है।

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